लखनऊ। कोरोना मरीजों का ग्राफ तेजी से बढ़ रहा है। वायरस से मरने वालों की संख्या भी रफ्तार पकड़ रही है। लखनऊ में भले ही मरीजों की संख्या ज्यादा है लेकिन मृत्युदर दूसरे जिलों के मुकाबले कम है। कोरोना मरीजों की मौत के मामले में लखनऊ 52 वें स्थान पर है। पहले पायदान पर आगरा है।लखनऊ में अब तक 58 मरीजों की कोरोना से मौत हो चुकी है। जून-जुलाई में सबसे ज्यादा मरीजों ने दम तोड़ा है। स्वास्थ्य विभाग ने मौत के आंकड़े जारी किए हैं। ये आंकड़े मरीजों की संख्या और मौत के हिसाब से जारी किए हैं। लखनऊ में मरीज तो ज्यादा हैं लेकिन ठीक होने वालों की संख्या भी अधिक है। वहीं अनेक जिले ऐसे हैं जहां मरीज तो कम हैं लेकिन दम तोड़ने वालों की संख्या अधिक है।
यहां एक भी मौत नहीं
लखीमपुर में 232 मरीज संक्रमित मिल चुके हैं। पीलीभीत में 251 लोगों में वायरस मिले। कासगंज में 292 लोग संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं। स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के मुताबिक इन तीन जिलों में कोरोना से एक भी मरीज की मौत नहीं हुई।
इन जिलों में पांच माह में एक मौत
यूपी करीब पांच माह से कोरोना का दंश झेल रहा है। कई जिले हैं जिनमें वायरस बहुत हमलावर नहीं हो पाया। कानपुर देहात में 116 मरीज सामने आ चुके हैं और सिर्फ एक मरीज ने दम तोड़ा है। सीतापुर में 147, बांदा में 185, सोनभद्र में 337, अमेठी में 351 शाहजहांपुर में 409 लोग संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं। इन सभी जिलों में एक-एक मरीज की मौत हुई है।
आंकड़े एक नजर में
- लखनऊ में मृत्युदर 1.28 प्रतिशत है
- आगरा में 96 मरीजों की मौत हो चुकी है। मृत्युदर 6.70 है
- दूसरे स्थान पर फिरोजाबाद है। यहां 37 मरीजों की मौत हुई। मृत्युदर 6.50 है
- तीसरे स्थान पर प्रतापगढ़ है। जिले में 181 मरीज में 10 की मौत हुई। मृत्युदर 5.52 फीसदी है
- कानपुर में 138 मरीजों की मौत हुई। मृत्युदर 5.11 फीसदी है
- मेरठ में 98 मरीजों की मौत हो चुकी है। इस लिहाज से मृत्युदर 5.48 प्रतिशत है।